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CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - CTET & State TET MCQ


Test Description

30 Questions MCQ Test CTET Mock Test Series (Hindi) 2024 - CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi)

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) for CTET & State TET 2024 is part of CTET Mock Test Series (Hindi) 2024 preparation. The CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) questions and answers have been prepared according to the CTET & State TET exam syllabus.The CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) MCQs are made for CTET & State TET 2024 Exam. Find important definitions, questions, notes, meanings, examples, exercises, MCQs and online tests for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) below.
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CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 1

निर्देश: नीचे दी गई काव्य – पंक्तियों को पढ़कर सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए:
ये कोरोना वाली छुट्टी, बहुत कुछ सिखा गयी
जरूरते है कितनी कम, रिश्तो में है दम
पैसे कि क्या अहमियत, किसकी है कैसी नीयत हाँ, पर सब कुछ जता गयी..
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
पर जो नही आ पायी बाई, खुद किये घर की सफाई
सब्जी जो नही मिल पायी, चावल दाल बुरी नही भाई
सहनशक्ति को आजमा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
नौकरी करते या खेती बाडी, छोटी कार या बड़ी गाडी
बड़ा बंगलो या छोटा घर, बीमारी के सामने सब बराबर
इंसान को हैसियत समझा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
अंग्रेजी वाले शब्द हुए पॉपुलर
क्वारंटाइन, लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग
लोकल के लिए वोकल सच में
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी

Q. दाल-चावल में कौन सा समास है:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 1

चावल दाल शब्द में द्वंद समास है।
समास विग्रह: चावल और दाल

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 2

एक शिक्षार्थी अपने संज्ञानात्मक स्तर से एक सोपान ऊपर के अपठित गद्यांश की समालोचनात्मक सराहना द्वारा अपनी पठन क्षमता प्रदर्शित करती है।
यह किसके अधिक निकट है? 

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 2

बोधगम्य निवेश- समझ विकसित करने के लिए उपयोग में लायी जाने वाली विभिन्न प्रकार की सामग्री को बोधगम्य निवेश कहते है I
स्टीफन क्रैशन भाषा विज्ञान के क्षेत्र में एक विशेषज्ञ हैं, जो भाषा अधिग्रहण और विकास के सिद्धांतों में विशेषज्ञता रखते हैं। उन्होंने द्वितीय भाषा अधिग्रहण का सिद्धांत दिया जो व्यापक रूप से जाना जाता है और अच्छी तरह से स्वीकार किया जाता है।
i + 1  पहले से भाषाई क्षमता और अतिरिक्त भाषाई ज्ञान हासिल कर लेने को दर्शाता है, परिकल्पना का दावा है कि समृद्ध परिवेश की अन्तःक्रिया से समझ या भाषाई क्षमता में आयी वृद्धि बालको के समझ स्तर से थोड़ा उच्च हो सकती है। 
भाषा के अधिग्रहण के लिए 'बोधगम्य निवेश' महत्वपूर्ण और आवश्यक घटक है।
बोधगम्य निवेश परिकल्पना को प्राकृतिक क्रम परिकल्पना के संदर्भ में पुन: स्थापित किया जा सकता है उदाहरण के लिए, यदि हम एक रैखिक क्रम (1, 2, 3 ...) में भाषा के नियमों को प्राप्त करते हैं , तो i अंतिम नियम या बालक के स्तर के अनुरूप सीखा भाषा ज्ञान है, और 'बोधगम्य निवेश' बालक के स्तर से थोड़ा ऊपर भाषा के अवसर की उपलब्धता को दर्शाता है। हालांकि,
इस बात पर जोर दिया जाना चाहिए कि कोई भी निवेश पर्याप्त नहीं है; प्राप्त निवेश बोधगम्य होना चाहिए।  
जब पर्याप्त बोधगम्य निवेश (इनपुट) प्रदान किया जाता है, तो i + 1 उपलब्ध होता है ।
यदि भाषा मॉडल और शिक्षक बालको के एक स्तर ऊपर के बोधगम्य निवेश प्रदान करते हैं, तो वे उन संरचनाएँ को सीखने के लिए पर्याप्त रूप से तैयार होते है, जो उनके स्तर से थोड़ा ऊपर है।
अतः निष्कर्ष निकलता है कि एक शिक्षार्थी अपने संज्ञानात्मक स्तर से एक सोपान ऊपर के अपठित गद्यांश की समालोचनात्मक सराहना द्वारा अपनी पठन क्षमता प्रदर्शित करती है। यह बोधगम्य निवेश के अधिक निकट है।
अतः विकल्प (A) सही  है।

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CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 3

निर्देश: नीचे दी गई काव्य – पंक्तियों को पढ़कर सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए:
ये कोरोना वाली छुट्टी, बहुत कुछ सिखा गयी
जरूरते है कितनी कम, रिश्तो में है दम
पैसे कि क्या अहमियत, किसकी है कैसी नीयत हाँ, पर सब कुछ जता गयी..
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
पर जो नही आ पायी बाई, खुद किये घर की सफाई
सब्जी जो नही मिल पायी, चावल दाल बुरी नही भाई
सहनशक्ति को आजमा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
नौकरी करते या खेती बाडी, छोटी कार या बड़ी गाडी
बड़ा बंगलो या छोटा घर, बीमारी के सामने सब बराबर
इंसान को हैसियत समझा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
अंग्रेजी वाले शब्द हुए पॉपुलर
क्वारंटाइन, लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग
लोकल के लिए वोकल सच में
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी

Q. लॉकडाउन से अभिप्राय है:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 3

उपर्युक्त पद्यांश के अनुसार लॉकडाउन शब्द का अर्थ तालाबंदी है।
लॉकडाउन:

  • लॉकडाउन अथवा पूर्णबन्दी एक आपातकालीन प्रोटोकॉल है।
  • आपातकालीन स्थिति में लोगों की आवाजाही पर रोक लगाने के लिए सरकार द्वारा यह प्रतिबंध लगाया जाता है।
CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 4

निर्देश: नीचे दी गई काव्य – पंक्तियों को पढ़कर सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए:
ये कोरोना वाली छुट्टी, बहुत कुछ सिखा गयी
जरूरते है कितनी कम, रिश्तो में है दम
पैसे कि क्या अहमियत, किसकी है कैसी नीयत हाँ, पर सब कुछ जता गयी..
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
पर जो नही आ पायी बाई, खुद किये घर की सफाई
सब्जी जो नही मिल पायी, चावल दाल बुरी नही भाई
सहनशक्ति को आजमा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
नौकरी करते या खेती बाडी, छोटी कार या बड़ी गाडी
बड़ा बंगलो या छोटा घर, बीमारी के सामने सब बराबर
इंसान को हैसियत समझा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
अंग्रेजी वाले शब्द हुए पॉपुलर
क्वारंटाइन, लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग
लोकल के लिए वोकल सच में
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी

Q. लोकल तथा वोकल से क्या अभिप्राय है:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 4

लोकल तथा वोकल से क्या अभिप्राय है "सीमा के अंदर होने वाला तथा वाणी युक्त"। उपर्युक्त पद्यांश के अनुसार लोकल तथा वोकल का अर्थ सीमा के अंदर होने वाला तथा वाणी युक्त है।
अर्थात देश में उत्पादित होने वाले पदार्थ का उपयोग करना तथा उसके लिए अपनी वाणी को मुखर करना है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 5

निर्देश: नीचे दी गई काव्य – पंक्तियों को पढ़कर सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए:
ये कोरोना वाली छुट्टी, बहुत कुछ सिखा गयी
जरूरते है कितनी कम, रिश्तो में है दम
पैसे कि क्या अहमियत, किसकी है कैसी नीयत हाँ, पर सब कुछ जता गयी..
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
पर जो नही आ पायी बाई, खुद किये घर की सफाई
सब्जी जो नही मिल पायी, चावल दाल बुरी नही भाई
सहनशक्ति को आजमा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
नौकरी करते या खेती बाडी, छोटी कार या बड़ी गाडी
बड़ा बंगलो या छोटा घर, बीमारी के सामने सब बराबर
इंसान को हैसियत समझा गयी
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी
अंग्रेजी वाले शब्द हुए पॉपुलर
क्वारंटाइन, लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग
लोकल के लिए वोकल सच में
ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी

Q. ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी .. से क्या अभिप्राय है:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 5

ये कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गयी .. से क्या अभिप्राय है "इस बीमारी के सामने सब बराबर है"। यह कोरोना वाली छुट्टी बहुत कुछ सिखा गई पंक्ति से आशय इस बीमारी के सामने सब बराबर है। अर्थात इस बीमारी में वर्ग भेद को नहीं माना है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 6

शिक्षा में मातृभाषा आधारित बहुभाषिकता का क्या अर्थ है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 6

बहुभाषिकता: भिन्न-भिन्न प्रांतों के बच्चों द्वारा अलग-अलग प्रकार की भाषा बोले जाने को भाषायी विविधता या बहु-भाषिकता कहा जाता है। बहु-भाषिकता भारत की संस्कृति का अभिन्न अंग है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 7

भाषा शिक्षाशास्त्री सुझाव देते है कि शिक्षार्थी तब अच्छी तरह से सीखते हैं, जब तक वे स्वयं न करने लग जाए तब तक अध्यापक उन्हें सहारा देते रहें। शब्दभंडार सिखानें के लिए कौन सी युक्ति सही नहीं है? 

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 7

हिंदी में शब्दभंडार सिखानें के लिए के लिए अलग-अलग विद्यार्थियों के लिए उपयुक्त गतिविधियों (गीत, पहेली, खेल आदि) का उपयोग करना, शब्दों के अपने इस्तेमाल और उच्चारण पर ध्यान देना, जल्दी-जल्दी गतिविधि को बदलने का उपयोग कर सकते हैं।

  • सहारा देना बच्चे की क्षमता को बढ़ाने के लिए सही समय पर सही मात्रा में सही प्रकार की सहायता प्रदान करने की एक तकनीक है। पाड़ सुविधा का एक रूप है जो सीखने की सुविधा प्रदान करता है। लेव वायगोत्स्की पहले व्यक्ति थे जिन्होंने शब्द 'पाड़' (सहारा देना) को प्रतिपादित किया था।
CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 8

प्रमाणिक आकलन क्या है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 8

आकलन अधिगम की प्रगति में सुधार के लिए डेटा एकत्र करने, प्राप्त करने और विश्लेषण करने की प्रक्रिया है।
तीन प्रकार के आकलन हैं: अधिगम के लिए आकलन (रचनात्मक आकलन), अधिगम का आकलन (योगात्मक आकलन) और अधिगम के रूप में आकलन (प्रामाणिकआकलन)।
प्रामाणिकआकलन (अधिगम के रूप में आकलन)- यह एक गतिविधि या कार्य का उपयोग है जो बच्चों को अपने स्वयं के अधिगम में सुधार के लिए आकलन का उपयोग करने में मदद करता है।
जब विद्यार्थी स्वयं अपने आकलन कर्ता बन जाते है तो इसे सीखने के रूप में आकलन कहा जाता है। 
यह बच्चों को अपने स्वयं के अधिगम पर प्रतिबिंबित करने और समायोजन करने में मदद करता है ताकि वे अवधारणाओं की गहन समझ प्राप्त कर सकें।
यह शिक्षार्थियों के निष्पादन के मापन का वह उपगम जो प्रत्यक्ष एवं सुसंगत तरीक से जाँच करता है कि अधिगम उद्देश्य प्राप्त हुए हैं या नहीं।
यह नैदानिक मूल्यांकन पर आधारित।
सीखने के रूप में आकलन एक रचनात्मक आकलन है जो विद्यार्थियों को अपने स्वयं के अधिगम का आकलन करने और समायोजन करने के लिए अधिसंज्ञानात्मक प्रक्रियाओं के शिक्षण पर केंद्रित है। 
अतः निष्कर्ष निकलता है कि शिक्षार्थियों के निष्पादन के मापन का वह उपगम जो प्रत्यक्ष एवं सुसंगत तरीक से जाँच करता है कि अधिगम उद्देश्य प्राप्त हुए हैं या नहीं। प्रमाणिक आकलन है।
अतः विकल्प (B) सही  है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 9

ज्ञान की अवचेतन स्वीकृति जहाँ सूचनाएँ संप्रेषण के माध्यम से मस्तिष्क में एकत्र होती हैं, उसे भाषा के किस रुप में जाना जाता है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 9

एक विद्यार्थी द्वारा दो तरह से भाषा सीखी जा सकती है- भाषा अर्जन और भाषा अधिगम:
भाषा-अर्जन उस प्रक्रिया को कहते हैं, जिसमें बालक भाषा को ग्रहण करने व समझने की क्षमता अर्जित करता है।
भाषा अधिगम- अधिगम शब्द दो शब्द के मेल से बना है 'अधि' तथा 'गम'। यहाँ 'अधि' का अर्थ है 'भली प्रकार' तथा 'गम' का अर्थ है 'जानना'। अर्थात किसी बात या विषय के समीप अच्छी तरह जाना और उसकी भली भांति जानकारी प्राप्त करना।​
अतः विकल्प (C) सही  है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 10

निम्नलिखित में से कौन-सा 'अन्त: क्रियात्मक परिकल्पना' का समर्थन नहीं करता है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 10

बच्चे निष्क्रिय गतिविधियों की अपेक्षा अन्तः क्रियात्मक गतिविधियों के माध्यम से अधिक सीखते हैं-सामाजिक संपर्क मायने रखता है- 

  • ​​जब हम कहते हैं कि "सामाजिक संपर्क मायने रखता है," हम संचार की "आगे और पीछे" प्रकृति पर जोर दे रहे हैं।
  • अनुसंधान इस तथ्य का समर्थन करता है कि बच्चों को वास्तविक लोगों के साथ वास्तविक जीवन के आदान-प्रदान की आवश्यकता होती है। 
  • खेल के दौरान, भोजन के समय, बिस्तर की तैयारी करते समय या कहानी पढ़ते समय, परिवार के सदस्यों या शिक्षकों के लिए बच्चों के साथ बातचीत करने के सभी बेहतरीन अवसर होते हैं।
  • अन्त: क्रियात्मक परिकल्पना के अन्तर्गत वो सब गतिविधियाँ आती है जिनमें बालक विभिन्न लोगों के साथ बातचीत में सक्रिय रूप से भाग लेता है।
  • 'अन्त: क्रियात्मक परिकल्पना' का समर्थन करने के लिए चयनित विषयों पर समूह परियोजना कार्य, शिक्षार्थियों को विनिमय के अवसर (बातचीत) प्रदान करना और समूह कार्य, जोड़ों में कार्य और समूची कक्षा में एक साथ कार्य इन सभी विकल्पों के तहत आता है।

अतः निष्कर्ष निकलता है कि अध्यापक द्वारा व्याख्यान और श्रुतलेखन कार्य 'अन्त: क्रियात्मक परिकल्पना' का समर्थन नहीं करता है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 11

छवियों और प्रतीकों के माध्यम से सीखना तकनीकी रूप से _______ के अधीन वर्गीकता है।

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 11

छवियों और प्रतीकों के माध्यम से सीखना तकनीकी रूप से संवेदी रूप से सीखने के अधीन वर्गीकता है।
संवेद या इन्द्रियबोध (sense) उन शारीरिक क्षमताओं को कहते हैं जिनसे प्राप्त हुए ज्ञान से किसी जीव को अपने वातावरण का बोध होता है।

  • मनुष्यों में पाँच प्रमुख संवेदी अंग (इन्द्रियाँ) हैं- देखना (आँखों से), सुनना (कानों से), छूना (त्वचा से), सूंघना (नाक से) और स्वाद लेना (जीभ से)।
  • इन पाँच संवेदी अंगों द्वारा सीखना ही संवेदी रूप से सीखने के अन्तर्गत आता है।
  • शिक्षण प्रक्रिया के दौरान बच्चों के संवेदी अंगों का जीतना अधिक उपयोग होगा अधिगम से प्राप्त अनुभव उतना ही स्थायी होगा।
  • शिक्षण प्रक्रिया के दौरान संवेदी अंगों को उपयोग में लाने वाले उपकरणों को शिक्षण सहायक सामग्री के नाम से जाना जाता है।
CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 12

योगात्मक आकलन से क्या तात्पर्य है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 12

आकलन परिणामों (छात्रों ने क्या सीखा है), प्रक्रिया (जिस तरह से सीखा), और कार्यक्रम या पाठ्यक्रम से पहले, दौरान या उसके बाद सीखने के लिए उनके दृष्टिकोण को निर्धारित करने के लिए किया जाता है।
योगात्मक आकलन 
योगात्मक आकलन विद्यार्थी के अधिगम के विषय में सूचना एकत्र करने का तरीका है।
इस प्रकार के आकलन का उद्देश्य छात्रों का वर्गीकरण और प्रोन्नति है।
इसके परिणामों का उपयोग छात्र की उपलब्धियों को प्रमाणित करने और निर्णय पारित करने के लिए किया जाता है।
यह व्यक्तियों को प्रमाण पत्र देने और चयनात्मक नौकरी के लिए उपयुक्त व्यक्ति का चयन करने में मदद करता है।
यह प्रतिपुष्टि प्रदान नहीं करता है, के बजाय शिक्षण-अधिगम की प्रक्रिया के समग्र परिणाम प्रदान करता है।
उदाहरण के लिए,
अंतिम परियोजना या रचनात्मक पोर्टफोलियो जैसे विस्तारित अवधि में संचयी कार्य करना।
यह व्यक्ति को यह अनुमान लगाने में मदद करता है कि आने वाले समय में वह कितना अच्छा कर सकता है और कैसे वह चयनात्मक संस्था या संगठन को लाभ पहुंचा सकता है।
इसे पाठ्यक्रम गतिविधि के अंत के रूप में माना जाता है जो भविष्य में किसी व्यक्ति के प्रदर्शन की भविष्यवाणी करने में मदद करता है।
उदाहरण के लिए, स्कूल की जवाबदेही को प्रदर्शित करने वाले मानकीकृत परीक्षणों का उपयोग विद्यार्थियों के प्रवेश के लिए किया जाता है ताकि उन्हें अगली कक्षा में पदोन्नत किया जा सके या नए स्कूल में दाखिला मिल सके।
इसलिए, यह निष्कर्ष निकालता है कि योगात्मक आकलन से क्या तात्पर्य है, सत्र की अवधि विशेष में शिक्षार्थियों के कौशलों के बारे में निर्णय देना।
अतः विकल्प (A) सही  है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 13

स्वतंत्र लेखन का मुख्य लाभ यह है कि शिक्षार्थी _________

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 13

स्वतंत्र लेखन: स्वतंत्र लेखन का अर्थ अंतर्ज्ञान, व्यक्तिगत अवलोकन और अनुभव से लिखना है।
इस स्तर पर, शिक्षार्थी विभिन्न संरचनाओं, शब्दावली और शाब्दिक वस्तुओं को चुनने के लिए स्वतंत्र हैं और अपने स्वयं के विचारों को व्यक्त करते हैं। इसलिए इस प्रकार की रचना को मुक्त रचना कहा जाता है।
मुक्त रचना में पर्याप्त अभ्यास विद्यार्थियों को घटनाओं का वर्णन करने और रोजमर्रा की जिंदगी पर रिपोर्ट लिखने में सक्षम बनाता है।
स्वतंत्र रचना में व्यक्ति अपनी भाषा का उपयोग करने के लिए स्वतंत्र होता है।
लेखक की स्वतंत्र लेखन​ प्रकृति - उसकी भावनाओं, संवेगों, भाषा के अलंकार का ज्ञान, भाषा का प्रवाह, विचारों के संगठन, उसकी पसंद और नापसंद, आदि की जाँच करता है।
उच्च कक्षाओं में, विद्यार्थियों को मुक्त रचना लिखने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
स्वतंत्र रचना के कुछ प्रकार है - यात्रा वृत्तान्त, प्रकृति वर्णन, जीवनी लेखन आदि।
अतः विकल्प (C) सही  है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 14

निर्देश: निम्नलिखित गद्यांश को ध्यान पूर्वक पढ़िए और विकल्पों में से उपयुक्त उत्तर चुनिए।
जाति-प्रथा को यदि श्रम-विभाजन मान लिया जाए तो यह स्वाभाविक विभाजन नहीं है क्योंकि यह मनुष्य की रुचि पर आधारित है। कुशल व्यक्ति या सक्षम श्रमिक समाज का निर्माण करने के लिए यह आवश्यक है कि हम व्यक्ति की क्षमता इस सीमा तक विकसित करें, जिससे वह अपने पेशे या कार्य का चुनाव स्वयं कर सके। इस सिद्धांत के विपरीत जाति-प्रथा का दूषित सिद्धांत यह है कि इससे मनुष्य के प्रशिक्षण अथवा उसकी निजी क्षमता का विचार किए बिना, दूसरे ही दृष्टिकोण जैसे माता-पिता के सामाजिक स्तर के अनुसार पहले से ही अर्थात गर्भधारण के समय से ही मनुष्य का पेशा निर्धारित कर दिया जाता है।
जाति-प्रथा पेशे का दोषपूर्ण पूर्वनिर्धारण ही नहीं करती, बल्कि मनुष्य को जीवन-भर के लिए एक पेशे में बाँध भी देती है, भले ही पेशा अनुपयुक्त या अपर्याप्त होने के कारण वह भूखों मर जाए। आधुनिक युग में यह स्थिति प्रायः आती है क्योंकि उद्योग धंधे की प्रक्रिया व तकनीक में निरंतर विकास और कभी-कभी अकस्मात परिवर्तन हो जाता है, जिसके कारण मनुष्य को अपना पेशा बदलने की आवश्यकता पड़ सकती है और यदि प्रतिकूल परिस्थितियों में भी मनुष्य को अपना पेशा बदलने की स्वतंत्रता न हो तो इसके लिए भूखे मरने के अलावा क्या चारा रह जाता है? हिंदू धर्म की जाति प्रथा किसी भी व्यक्ति को ऐसा पेशा चुनने की अनुमति नहीं देती है, जो उसका पैतृक पेशा न हो, भले ही वह उसमें पारंगत है। इस प्रकार पेशा-परिवर्तन की अनुमति न देकर जाति-प्रथा भारत में बेरोजगारी का एक प्रमुख व प्रत्यक्ष कारण बनी हुई है।

Q. जातिप्रथा के दोषपूर्ण सिद्धांत को दूषित क्यों कहा गया है?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 14

प्रस्तुत गद्यांश के अनुसार जातिप्रथा के दोषपूर्ण सिद्धांत को दूषित इसलिए कहा गया है क्योंकि यह मनुष्य को जीवन भर के पेशे में बाँध देती है और मनुष्य का माता-पिता के सामाजिक स्तर, मनुष्य दोषपूर्ण पूर्वनिर्धारण होता है। इसलिए, विकल्प ‘उपर्युक्त सभी’ सही है।
जाति-प्रथा का सिद्धांत इसलिए दूषित कहा गया है, क्योंकि वह व्यक्ति की क्षमता या रुचि के अनुसार उसके चुनाव पर आधारित नहीं है। वह पूरी तरह माता-पिता की जाति पर ही अवलंबित और निर्भर है।

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 15

योजना शिक्षण विधि के प्रवर्तक है:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 15

योजना शिक्षण विधि के प्रवर्तक डब्ल्यू. एच. किलपैट्रिक हैं।
योजना/परियोजना शिक्षण विधि के प्रवर्तक 'डब्लयू. एच. किलपैट्रिक' हैं। यह विधि 'जॉन डेवी' द्वारा शुरू किए गए 'प्रोग्रेसिव एजुकेशन मूवमेंट' का उत्पाद थी परंतु बाद में इसे दुनिया भर में 'डब्ल्यू. एच. किलपैट्रिक' द्वारा विस्तार से वर्णित किया गया था।

  • यह विधि एक समूह में व्यावहारिक ज्ञान के प्रयोग द्वारा किसी परियोजना को पूरा करने के लिए छात्रों की सक्रिय भागीदारी को संदर्भित करती है।
  • इस पद्धति में जीवनोपयोगी शिक्षा दी जाती है तथा बच्चों को स्वयं के अनुभव द्वारा अर्थात खुद कर के सीखने का मौका दिया जाता है।
CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 16

Neha, a language teacher tells her students to visit at least three schools in your neighborhood and find the difference in the English language proficiency of learners and teachers, languages known/spoken by learners, and languages used inside and outside the classroom in the school. She is focusing on:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 16

India’s linguistic diversity is both a challenge and an opportunity in schooling. It is a challenge as the language-in-education policy could not, accommodate (all) the languages of the children in the curriculum and is merit and opportunity in terms of availability of languages in a typical Indian classroom where employing multilingualism as a strategy for teaching-learning of languages as well as the ‘content’ subject is possible and necessary. The language-in-education policy attempts to accommodate at least three languages within ten years of schooling. However, many tribal and minor languages are yet to find a place in the school curriculum.
If a teacher tells the students to visit at least three schools in your neighborhood and find the difference in the English language proficiency of learners and teachers, languages known/spoken by learners, and languages used inside and outside the classroom in the school then she is focusing on multilingualism and language education.

  • Multilingualism is a natural phenomenon that relates positively to cognitive flexibility and scholastic achievement.
  • Several recent studies have effectively demonstrated the positive relationship of bilingualism with cognitive growth and scholastic achievement. There is a highly positive relationship between bilingualism, cognitive flexibility, and scholastic achievement.
  • Bilingual children not only have control over several different languages but are also academically more creative and socially more tolerant.
  • The wide range of linguistic skills that they control equips them to negotiate different social situations more efficiently. 

Thus it is clear that Neha is focusing on multilingualism and language education.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 17

Learners who develop an increased awareness of their own style of learning and teacher's awareness of students' individual style enhance ______ learning.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 17

This is the correct option. Teachers can encourage growth of interpersonal intelligence by designing lessons that include group work and planning cooperative learning activities.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 18

As a language teacher, which one of the following is most essential for you regarding teaching grammar?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 18

The functional approach to language teaching is a methodology that is supposed to allow the learner to function effectively and is based on teaching content that is designated as the users' needs. As a language teacher, the following  strategies are the most important in the teaching of grammar:

  • Language is to be studied in the context of the text in which it is used.
  • Children need to know the rules (syntax) and the tools available to express meanings.
  • The pattern of language choice can be identified in the text.
  • Language should be taught in planned ways.
  • The learners can compare it with other languages (functional approach).

So, we conclude that as a language teacher using a functional approach is essential for you to regarding grammar teaching.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 19

Directions: Identify the correct question tag for the statement.
Ram and his wife put a lot of money in the donation box last year.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 19

'Last year' indicates past tense. So, past form 'didn't' will be used. Here, we are talking about two people. So, 'they' will be used. Hence, option 4 is the correct answer.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 20

The preschool language classroom arrangement:

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 20

A conducive language classroom environment catering to the needs and interests of young children is an important factor for leading programs and activities in the pre-school class. A carefully planned environment can help preschoolers feel calm and secure, while at the same time, engaged and inquisitive.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 21

Which principle of teaching English creates a zeal to learn something new in the language?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 21

Principle of Language Teaching: To achieve the desired goals in English language teaching, a teacher uses the various principles. Each of them is listed below along with their characteristics:

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 22

Directions: Identify the antonym of the underlined word in the following sentence.
At school, the boy had erratic behaviour.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 22

Here, erratic means unpredictable.
Right means proper and expected. So, it is the opposite word to 'erratic'.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 23

When a child has acquired all the language skills then he is said to be _________ in that language.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 23

The teaching of English must be done in a way so that reduces errors and compels students to use English in their daily life and gives them confidence and satisfaction while using the language. The main purpose of teaching a language in education is to make a child proficient in that specific language.

  • Fluency in English means that the child can use the basic skills of language which are listening, speaking, reading, and writing.  
  • One who can perform these basic skills properly and collectively with full accuracy and speed is said to be fluent in English.
  • Fluency is related to the one specific domain in a language whereas proficiency means that a person can collectively use all the language skills together and can smoothly use them in their life.
  • A person who is proficient is said to be fluent in a specific language. But it is not necessary that a person who is fluent will always be proficient in that language.
  • A fluent person can use a skill smoothly at a time but a proficient person can use all the skills together at a time. 
  • The teacher must create opportunities to use the language for communication among learners to develop their fluency and proficiency in English.
  • This can be done by conducting several language-based activities such as discussions, drama, dialogues, conversations, debates, questionnaires, etc.

Therefore, it is concluded that when a child has acquired all the language skills then he is said to be proficient in that language.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 24

The method of teaching in a large classroom should be chosen on the basis of: 

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A method of teaching refers to the systematic and organized approach used by a teacher to deliver instructional content, facilitate learning, and achieve desired educational objectives in a structured manner.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 25

Storytelling as a strategy in language teaching is aimed at _______.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 25

Storytelling refers to the art of narrating a story. It is used as a strategy in language teaching which broadens learners' reading choices. Storytelling promotes a whole language approach.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 26

We teach poetry because we want pupils to

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 26

The main objectives of teaching poetry at the secondary level are as follows:

  • To understand and derive pleasure from the given poem.
  • To appreciate the beauty of the language and the thought in the poem.
  • To recite the poem with proper beats, stress, accent, intonation and
  • rhythm.
  • To kindle the students' imagination and develop their aesthetic sense.

The nature of these objectives, though laudable, is complimentary in the process of language learning. Only the objectives of teaching prose and fiction fulfill the needs of the learner in so far as the intensive and extensive reading skills, writing and communication skills are concerned.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 27

What is inclusive language?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 27

An inclusive classroom is part of inclusive education that is an approach to educate all children who are at risk for neglect in the education system. It expects that all learners learn together through access to common educational provisions.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 28

The skills of speaking and writing are called _______ skills.

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 28

Language skills basically consist of four primary skills known as reading skills, writing skills, speaking and listening skills. These four skills are what constitutes effective communication.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 29

"A student recommends the reading of the latest best seller saying that it is very interesting. You listen trying to make out whether the student's observation is sincere or not." This type of listening can be described as

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 29

Listening is the process of receiving messages from oral, verbal, and nonverbal communication and interpreting the same. It is necessary here to differentiate between hearing and listening. Hearing is receiving the sounds through the ears without evaluation and interpretation.

CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 30

Direction: Read the following information carefully and answer the given questions.
Initiatives such as “4 per mille” and Terraton aim to sequester huge amounts of carbon in the soil. The 2018 U.S. Farm Bill includes the first-ever incentives for farmers to adopt practices aimed at improving soil health and sequestering carbon. But these initiatives are missing a key point: not all soil carbon is the same.
The very different lifetimes of particulate organic matter and mineral-associated organic matter have important implications for these efforts. For example, adding low-quality crop residues to agricultural fields would likely create more particulate organic matter than mineral-associated organic matter. This could increase soil carbon in the short term - but if that field later is disturbed by tilling, a lot of it would decompose and the benefit would be quickly reversed. The best practices focus on building up the mineral-associated organic matter for longer-term carbon storage, while also producing high-quality particulate organic matter with lots of nitrogen to help boost crop productivity.
Natural healthy soils show us that providing continuous and diverse plant inputs that reach all the way to deep soil is key for achieving both high mineral-associated organic matter storage and particulate organic matter recycling. There are many promising ways to do this, such as maintaining plant cover on fields year-round; growing diverse crops that include high-nitrogen legumes and perennials with deep roots; and minimizing tillage.
However, not all soils can accumulate both mineral-associated organic matter and particulate organic matter. Before implementing any management practices for carbon sequestration, participants should first assess the carbon storage potential of the local soil, much as a doctor studies a patient before prescribing a cure. Sequestering soil carbon effectively requires an understanding of how particulate organic matter and mineral-associated organic matter work, how human actions affect them, and how to build up both types to meet our planet’s climate and food security needs.

Q. What will happen if we add low-quality crop residues to the agricultural field?

Detailed Solution for CTET Paper-II (Mathematics and Science) Mock Test - 3 (Hindi) - Question 30

Let's refer to the following lines of the passage:
For example, adding low-quality crop residues to agricultural fields would likely create more particulate organic matter than mineral-associated organic matter. 

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