Class 8 Exam  >  Class 8 Notes  >  Hindi Class 8  >  Important Questions: भगवान के डाकिए

Important Questions: भगवान के डाकिए | Hindi Class 8 PDF Download

बहुविकल्पीय प्रश्न

प्रश्न 1. ‘भगवान के डाकिए’ कविता के कवि का नाम बताएं।
(क) रामधारी सिंह दिनकर
(ख) सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला
(ग) भगवतीचरण वर्मा
(घ) कबीरदास

उतर:- (क) रामधारी सिंह दिनकर

प्रश्न 2. भगवान के संदेश को कौन – कौन पढ़ सकता है?
(क) संसार में रहने वाले सभी लोग
(ख) सभी चतुर व्यक्ति
(ग) सभी जीव जंतु
(घ) पेड़, पौधे, सरोवर-सरिताएँ, समुद्र व पर्वत यानी प्रकृति

उतर:- (घ) पेड़, पौधे, सरोवर-सरिताएँ, समुद्र व पर्वत यानी प्रकृति

प्रश्न 3. भगवान के डाकिए इस संसार को क्या संदेश देना चाहते हैं?
(क) आपसी नफरत का
(ख) विश्वबंधुत्व का
(ग) भेदभाव न करने का
(घ) प्रेम भाव से आगे बढ़ने का

उतर:- (ख) विश्वबंधुत्व का

प्रश्न 4. ‘बाँचते’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) पढ़ना
(ख) सुनना
(ग) रोना
(घ) धोना

उतर:- (क) पढ़ना

प्रश्न 5. भगवान के डाकिए द्वारा लाई गई चिट्ठियों को कौन नहीं पढ़ सकता है?
(क) इंसान
(ख) पेड़-पौधे
(ग) जानवर
(घ) पहाड़

उतर:- (क) इंसान

प्रश्न 6. ‘तिरता’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) बहना
(ख) रोना
(ग) सोना
(घ) तैरता

उतर:- (घ) तैरता

प्रश्न 7. ‘सौरभ’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) बदबू
(ख) खुशबू
(ग) सुरंग
(घ) दुर्गंध

उतर:- (ख) खुशबू

प्रश्न 8. पानी बरसने से एकदम पहले उसका रूप होता है।
(क) भाप
(ख) हवा
(ग) आँधी
(घ) धूल

उतर:- (क) भाप

प्रश्न 9. एक देश की धरती दूसरे देश की धरती को क्या भेजती है?
(क) सुगंध
(ख) फूल
(ग) धुप
(घ) हवा

उतर:- (क) सुगंध

प्रश्न 10. एक महादेश से दूसरे महादेश कौन जाते हैं?
(क) हवा
(ख) पक्षी और बादल
(ग) नदिया
(घ) फूल

उतर:- (ख) पक्षी और बादल

प्रश्न 11. पक्षी एक देश से दूसरे देश में सुगंध कैसे ले जाते हैं?
(क) अपने मुंह के द्वारा
(ख) अपने पंखों पर
(ग) अपने पंजों में छुपा कर
(घ) अपनी चोंच से

उतर:- (ख) अपने पंखों पर

प्रश्न 12. ‘भाप’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) वाष्प
(ख) जल
(ग) वसा
(घ) घुमक्कड़

उतर:- (क) वाष्प

प्रश्न 13. भगवान के डाकिए कविता का भाव स्पष्ट करो?
(क) पक्षी और बादल भगवान के डाकिए हैं
(ख) मनुष्य को भेदभाव से उठकर वसुधैव कुटुंबकम की भावना को आत्मसात करना चाहिए
(ग) मनुष्य को सभी का ध्यान रखना चाहिए
(घ) मनुष्य को पक्षियों से कुछ सीखना चाहिए

उतर:- (ख) मनुष्य को भेदभाव से उठकर वसुधैव कुटुंबकम की भावना को आत्मसात करना चाहिए

प्रश्न 14. बादल और पक्षी क्या नहीं मानते?
(क) जात-पात
(ख) धार्मिक भेदभाव
(ग) दो देशों की भौतिक सीमाओं के भेद को
(घ) आपसी मनमुटाव

उतर:- (ग) दो देशों की भौतिक सीमाओं के भेद को

प्रश्न 15. मनुष्य प्रकृति के संबंध में केवल क्या कर सकता है?
(क) दुरुपयोग
(ख) आकलन
(ग) जोड़ घटाव
(घ) अच्छा अनुभव

उतर:- (ख) आकलन

प्रश्न 16. ‘आँकत’ शब्द का क्या अर्थ है?
(क) अनुभव
(ख) ज्यादा
(ग) आकार
(घ) अनुमान

उतर:- (घ) अनुमान

प्रश्न 17. प्रस्तुत कविता में पक्षी और बादल को क्या कहा गया है ?
(क) भगवान के डाकिए
(ख) खत पहुंचाने वाला
(ग) प्रकृति के संरक्षण
(घ) संदेशवाहक

उतर:- (क) भगवान के डाकिए

प्रश्न 18. एक देश की धरती द्वारा भेजा गया सौरभ दूसरे देश की धरती तक कैसे पहुँचता है? 
(क) पानी से 
(ख) फूल से 
(ग) धूल से 
(घ) पक्षियों के पंखों पर

उत्तर:- (घ) पक्षियों के पंखों पर

सार-आधारित प्रश्न 

1) पक्षी और बादल, ये भगवान के डाकिए हैं, जो एक महादेश से दूसरे महादेश को जाते हैं।
हम तो समझ नहीं पाते हैं मगर उनकी लाई चिट्ठियाँ पेड़, पौधे, पानी और पहाड़ बाँचते हैं।

प्रश्न 1. कवि और कविता का नाम बताएं।
(क) कवि का नाम- रामधारी सिंह दिनकर, कविता का नाम- भगवान के डाकिए।
(ख) कवि का नाम- सूर्यकांत त्रिपाठी ‘निराला’, कविता का नाम- ध्वनि।
(ग) कवि का नाम- दीवानों की हस्ती, कविता का नाम- भगवतीचरण वर्मा।
(घ) कवि का नाम- कबीर की साखियाँ, कविता का नाम- कबीरदास।

उतर:- (क) कवि का नाम- रामधारी सिंह दिनकर, कविता का नाम- भगवान के डाकिए।

प्रश्न 2. पक्षी और बादल भगवान के डाकिए क्यों हैं ?
(क) क्योंकि ये ही भगवान के संदेश हम तक पहुंचाते हैं।
(ख) बादल वर्षा करते हैं और पक्षी आनंदित होते।
(ग) इनका प्रकृति से अटूट रिश्ता है।
(घ) डाक इधर-उधर ले जाते हैं।

उतर:- (क) क्योंकि ये ही भगवान के संदेश हम तक पहुंचाते हैं।

प्रश्न 3. भगवान के डाकिए किसे कहा गया है?
(क) हवा और पानी को
(ख) पक्षी और बादल को
(ग) पक्षी और पहाड़ को
(घ) मेघ और बादल को

उतर:- (ख) पक्षी और बादल को

प्रश्न 4. पक्षी और बादलों के द्वारा लाई गई चिट्ठियों को कौन बाँचता है ?
(क) पेड़ और पौधे
(ख) पानी और पहाड़
(ग) क और ख दोनो
(घ) इनमें से कोई नहीं

उतर:- (ग) क और ख दोनो

2)हम तो केवल यह आँकते हैं कि एक देश की धरती दूसरे देश को सुगंध भेजती है।
और वह सौरभ हवा में तैरते हुए पक्षियों की पाँखों पर तिरता है।
और एक देश का भाप दूसरे देश में पानी बनकर गिरता है।

प्रश्न 1. सौरभ कहाँ – कहाँ जाता है?

उतर:- सौरभ यानी सुगंध हवा में तैरते हुए पक्षियों के पंखों पर तैरता हुआ दूसरे देशों तक जा पहुंचता है।

प्रश्न 2. सौरभ और पाँखों शब्दो का अर्थ स्पष्ट करें?

उतर:- सौरभ का अर्थ- सुगंध, पाँखों का अर्थ- पंख

प्रश्न 3. एक देश का भाप दूसरे देश में क्या बनकर गिरता है?

उतर:- एक देश का भाप दूसरे देश में पानी बनकर गिरता है।

प्रश्न 4. इस काव्यांश से हमें क्या शिक्षा मिलती है?

उतर:- इस काव्यांश से हमें यह शिक्षा मिलती है कि मनुष्यों को स्वार्थ की भावना त्याग कर, जाति, धर्म की सीमाओं को लांघ कर प्रेम भाव का संदेश पहुंचाना चाहिए।

अतिरिक्त प्रश्न उत्तर

प्रश्न 1. भगवान के डाकिए किन्हें कहा गया है?
उत्तर – भगवान के डाकिए पक्षी और बादल को कहा गया है।

प्रश्न 2. ‘भगवान के डाकिए’ के आधार पर पेड़, पौधे, पानी, पहाड़ तथा मनुष्य में परम्परा से हटकर क्या विरोधाभास दिखाया गया है?
उत्तर – इस कविता में पेड़-पौधे, पहाड़ तथा मनुष्य के बीच परम्परा से हटकर यह विरोधाभास का जिक्र किया गया है कि शिक्षित मनुष्य भगवान की चिट्ठियों को नहीं पढ़ पाता है, जबकि अनपढ़ पेड़-पौधे, पानी और पहाड़ भगवान की चिट्ठियों को पढ़ लेते हैं।

प्रश्न 3. प्रकृति के विभिन्न अंग-पेड़-पौधे, पानी और पहाड़ आदि ही भगवान की चिट्ठियों को क्यों पढ़ पाते हैं?
उत्तर – भगवान बादलों के द्वारा पेड़-पौधों, पहाड़ों के लिए सन्देश भेजते हैं। जो हमारी प्रकृति है वो किसी तरह से भेदभाव नहीं करती, एक देश से दूसरे देश बादल अपने पानी लेकर जाते हैं और न जाने कहाँ पर जाकर बरसाते हैं, इसी तरह से पेड़-पौधों की सुगंध, हवा, और पहाड़ों के सन्देश एक दूसरे तक पहुँचते हैं। इसलिए भगवान की चिट्ठियों को प्रकृति के अंग जैसे पेड़-पौधे, पानी और पहाड़ आदि ही पढ़ पाते हैं।

प्रश्न 4. भगवान के डाकिए और परंपरागत डाकियों से किस प्रकार भिन्न है?
उत्तर –प्रकृति के अनपढ़ ‘पक्षी और बादल‘ भगवान के डाकिये हैं, जबकि परम्परागत डाकिए पढ़े-लिखे मनुष्य हैं। भगवान के डाकिए किसी व्यक्ति विशेष के लिए संदेश नहीं लाते हैं, जबकि परम्परागत डाकिए व्यक्ति विशेष के लिए संदेश लाते हैं। पक्षी और बादल की लाई चिट्ठियों को प्रकृति (पेड़-पौधे, पानी और पहाड़) आदि पढ़ते हैं, जबकि मनुष्य उन्हें पढ़ नहीं पाता। वहीं परम्परागत डाकियों की लाई चिट्ठियों को पेड़-पौधे नहीं पढ़ पाते, बल्कि मनुष्य पढ़ते हैं।

प्रश्न 5. कविता में प्रकृति के विभिन्न अंगों द्वारा क्या-क्या मानवीय क्रियाकलाप करते हुए दिखाया गया है?
उत्तर – कविता में पक्षी और बादल भगवान के डाकिए हैं और उनकी लाई चिट्ठियों को पेड़, पौधे, पानी और पहाड़ पढ़ते हैं। जैसे एक देश का पानी दरिया बनकर बहता है तो दूसरे देश तक भी पहुँचता है, ऐसी ही ऊँचे-ऊँचे पहाड़ जो प्रकृति हैं उन्हें अगर हम देखे दूर से ही नजर आते हैं ऐसा लगता है जैसे झाँक रहे हैं एक देश से दूसरे देश की ओर। इसी तरह से पेड़, पौधे, जब फूलों से भर जाते हैं उनमें एक नई महक पैदा हो जाती है, वो भी बिना किसी बंधन के आजादी से बहती है और धरती एक देश की सुगंध पक्षियों के पंखों के द्वारा तथा हवा के झोंकों से दूसरे देश में भेजने का काम करती है।

प्रश्न 6. भगवान के डाकिए कविता से आपको क्या संदेश मिलता है?
उत्तर – भगवान के डाकिए कविता से यह संदेश मिलता है कि हमें अपने स्वार्थ, अपने-पराए की भावना को छोड़कर सबके साथ समानता तथा प्रेम का व्यवहार करना चाहिए। जिस प्रकार प्रकृति अपने पराए का भेदभाव किए बिना अपना खजाना लुटाती है, ऐसे ही हमें जाति, धर्म, भाई-भतीजावाद आदि की भावना से ऊपर उठकर कार्य करना चाहिए, जिससे हमारे कार्यों की महक चारों ओर फैल जाए।

प्रश्न 7. पक्षी और बादल, ये भगवान के डाकिए हैं, जो एक महादेश से दूसरे महादेश को जाते हैं। हम तो समझ नहीं पाते हैं मगर उनकी लाई चिट्ठियाँ पेड़, पौधे, पानी और पहाड़ बाँचते हैं। उपरोक्त पंक्तियों का अर्थ लिखिए।
उत्तर – कवि के अनुसार, आकाश में उड़ते पक्षी और बादल भगवान के डाकिए हैं, जो एक देश से दूसरे देश को उड़ते रहते हैं और एक तरह से वहाँ का संदेश लेकर आते हैं। इन डाकियों का सन्देश मनुष्य समझ नहीं पाते हैं, परन्तु जिसके लिए हैं वे समझ जाते हैं। भगवान बादलों के द्वारा जो संदेश भेजते हैं उन्हें पेड़-पौधे, पहाड़ और जल अच्छी तरह से पढ़ पाते हैं क्योंकि ये उनके लिए होते हैं।

प्रश्न 8. हम तो केवल यह आँकत हैं कि एक देश की धरती दूसरे देश को सुगंध भेजती है। और वह सौरभ हवा में तैरते हुए पक्षियों की पंखों पर तिरता है। और एक देश का भाप दूसरे देश में पानी बनकर गिरता है। उपरोक्त पंक्तियों का अर्थ लिखिए।
उत्तर – कवि के अनुसार, हम मनुष्य केवल यह अनुमान लगा सकते हैं कि एक देश की धरती से निकली सुगंध दूसरे देश तक जाती है, लेकिन प्रकृति के संदेशों को समझने की हमारी क्षमता सीमित है। वह सुगंध पक्षियों के पंखों पर तैरती हुई सीमाओं को पार कर जाती है। इसी प्रकार एक देश से उठी भाप दूसरे देश में जाकर पानी बनकर गिरती है। यह सब दर्शाता है कि प्रकृति के कार्यों में कोई भेदभाव या सीमा नहीं होती, जबकि मनुष्य कृत्रिम सीमाओं में बँधा हुआ है। यह पंक्तियाँ हमें प्रेम, समरसता और विश्वबंधुत्व की भावना की ओर प्रेरित करती हैं।

The document Important Questions: भगवान के डाकिए | Hindi Class 8 is a part of the Class 8 Course Hindi Class 8.
All you need of Class 8 at this link: Class 8
52 videos|354 docs|47 tests

FAQs on Important Questions: भगवान के डाकिए - Hindi Class 8

1. भगवान के डाकिए कहानी का मुख्य विषय क्या है ?
Ans. भगवान के डाकिए कहानी का मुख्य विषय मानवता, करुणा और सेवा का संदेश है। यह कहानी दर्शाती है कि कैसे एक साधारण व्यक्ति अपने दयालु कार्यों के माध्यम से दूसरों की मदद कर सकता है और समाज में सकारात्मक बदलाव ला सकता है।
2. इस कहानी में मुख्य पात्र कौन हैं ?
Ans. इस कहानी में मुख्य पात्र एक गरीब व्यक्ति है जो भगवान के डाकिए के रूप में काम करता है। इसके अलावा, अन्य पात्रों में वे लोग शामिल हैं जिन्हें वह मदद करता है, जैसे कि एक बीमार महिला और एक वृद्ध व्यक्ति।
3. भगवान के डाकिए की कहानी से हमें क्या शिक्षा मिलती है ?
Ans. भगवान के डाकिए की कहानी से हमें यह शिक्षा मिलती है कि सेवा और दयालुता का कार्य सबसे बड़ा धर्म है। हमें अपने आस-पास के लोगों की मदद करने के लिए हमेशा तैयार रहना चाहिए, चाहे हमारी स्थिति कैसी भी हो।
4. कहानी में प्रस्तुत भगवान के डाकिए की भूमिका क्या है ?
Ans. भगवान के डाकिए की भूमिका मददगार और दयालु व्यक्ति की है, जो न केवल दूसरों की भलाई के लिए काम करता है, बल्कि उनके दुखों को समझकर उन्हें राहत देने का प्रयास करता है।
5. इस कहानी का सामाजिक संदेश क्या है ?
Ans. इस कहानी का सामाजिक संदेश यह है कि इंसानियत की सेवा और सहयोग की भावना को हमेशा प्राथमिकता देनी चाहिए। हमें अपने व्यक्तिगत लाभ से अधिक समाज की भलाई के लिए सोचना चाहिए।
Related Searches

Sample Paper

,

MCQs

,

Previous Year Questions with Solutions

,

Objective type Questions

,

Extra Questions

,

Important Questions: भगवान के डाकिए | Hindi Class 8

,

past year papers

,

pdf

,

Semester Notes

,

study material

,

Free

,

Summary

,

practice quizzes

,

mock tests for examination

,

Important Questions: भगवान के डाकिए | Hindi Class 8

,

shortcuts and tricks

,

video lectures

,

Important questions

,

ppt

,

Viva Questions

,

Important Questions: भगवान के डाकिए | Hindi Class 8

,

Exam

;