All questions of बिहार का गठन for BPSC (Bihar) Exam

बिहार पुनर्गठन अधिनियम, 2000 का मुख्य प्रभाव क्या था?
  • a)
    इससे झारखंड का निर्माण हुआ, जिससे बिहार का भूमि क्षेत्र कम हुआ।
  • b)
    इसने बिहार को पश्चिम बंगाल के साथ मिला दिया।
  • c)
    इससे बिहार में जिलों की संख्या बढ़ गई।
  • d)
    इससे बिहार के विधायी सभा के सदस्यों की संख्या 400 हो गई।
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

बिहार पुनर्गठन अधिनियम, 2000 ने झारखंड का निर्माण किया, जो बिहार के भूमि क्षेत्र का 45.85% ले लिया। झारखंड का निर्माण बिहार से 18 जिलों के स्थानांतरण द्वारा हुआ। इस विभाजन ने बिहार के क्षेत्र को कम किया और विधायी सभा के सदस्यों की संख्या 324 से घटकर 243 हो गई, जिससे राज्य की प्रशासनिक और राजनीतिक परिदृश्य में बदलाव आया।

निम्नलिखित में से किस नेता ने 1889 में एक राजनीतिक इकाई के रूप में एक अलग बिहार के लिए वकालत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई?
  • a)
    डॉ. राजेंद्र प्रसाद
  • b)
    डॉ. सचिदानंद सिन्हा
  • c)
    श्री कृष्ण सिंह
  • d)
    सत्येंद्र प्रसन्न सिन्हा
Correct answer is option 'B'. Can you explain this answer?

डॉ. सचिदानंद सिन्हा पहले नेता थे जिन्होंने 1889 में बिहार को एक अलग राजनीतिक इकाई के रूप में बनाने की वकालत की। उन्होंने विश्वास किया कि बिहार को बंगाल से अलग, एक स्वतंत्र राजनीतिक इकाई के रूप में मान्यता दी जानी चाहिए, इसकी सांस्कृतिक और भाषाई भिन्नताओं के कारण। उनके प्रयासों ने 1912 में बिहार के अंततः विभाजन की नींव रखी।

बिहार और ओडिशा प्रांत आधिकारिक रूप से __________ को गठित हुआ।
  • a)
    1 जनवरी, 1911
  • b)
    1 अप्रैल, 1912
  • c)
    20 जनवरी, 1913
  • d)
    24 मार्च, 1937
Correct answer is option 'B'. Can you explain this answer?

बिहार और ओडिशा प्रांत 1 अप्रैल, 1912 को गठित हुआ, जब ब्रिटिश सरकार ने इन दोनों को बंगाल से अलग करने का निर्णय लिया। यह निर्णय क्षेत्रीय भाषाई और सांस्कृतिक भिन्नताओं को लेकर राजनीतिक दबाव और आंदोलनों का परिणाम था। पटना को नए प्रांत की राजधानी के रूप में नामित किया गया।

भारत की स्वतंत्रता के बाद बिहार के पहले मुख्यमंत्री कौन थे?
  • a)
    श्री कृष्ण सिंह
  • b)
    डॉ. राजेंद्र प्रसाद
  • c)
    डॉ. अनुग्रह नारायण सिन्हा
  • d)
    सत्येंद्र प्रसन्न सिन्हा
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

श्री कृष्ण सिंह भारत की स्वतंत्रता के बाद बिहार के पहले मुख्यमंत्री थे। वह भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के एक प्रमुख नेता थे और स्वतंत्रता संग्राम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। बिहार में उनके नेतृत्व ने राज्य के स्वतंत्रता के बाद के विकास और राजनीतिक दिशा को स्थापित करने में मदद की। उन्होंने 1946 से 1961 तक मुख्यमंत्री के रूप में अपनी सेवा की, जो बिहार के सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले मुख्यमंत्री रहे।

भारत की स्वतंत्रता के बाद बनाई गई बिहार की पहली विधान सभा में __________ सदस्य थे।
  • a)
    152
  • b)
    331
  • c)
    318
  • d)
    243
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

भारत की स्वतंत्रता के बाद 1952 में बनाई गई बिहार की पहली विधान सभा में 152 सदस्य थे। ये सदस्य भारत के नए लोकतांत्रिक ढांचे के तहत आयोजित आम चुनावों के हिस्से के रूप में चुने गए थे। विधान सभा की संरचना बिहार की प्रारंभिक स्वतंत्रता के बाद की शासन व्यवस्था का एक महत्वपूर्ण पहलू था।

1920 में बिहार और उड़ीसा के पहले गवर्नर कौन थे?
  • a)
    डॉ. राजेंद्र प्रसाद
  • b)
    श्री कृष्ण सिंह
  • c)
    सत्येंद्र प्रसन्न सिन्हा
  • d)
    लॉर्ड हार्डिंग
Correct answer is option 'C'. Can you explain this answer?

सत्येंद्र प्रसन्न सिन्हा 1920 में बिहार और उड़ीसा के पहले गवर्नर बने। वे भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में एक प्रमुख व्यक्ति थे और बिहार के राजनीतिक विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनका गवर्नर के रूप में नियुक्ति बिहार के राजनीतिक इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर था।

1937 के चुनावों के बाद बिहार के पहले मुख्यमंत्री कौन बने?
  • a)
    मो. यूनुस
  • b)
    डॉ. राजेंद्र प्रसाद
  • c)
    श्री कृष्ण सिंह
  • d)
    जगलाल चौधरी
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

मो. यूनुस 1937 के चुनावों के बाद बिहार के पहले मुख्यमंत्री बने। हालांकि कांग्रेस के नेता श्री कृष्ण सिंह को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया गया था, लेकिन उन्होंने सीमित शक्तियों के कारण इस प्रस्ताव को ठुकरा दिया। यूनुस का कार्यकाल ब्रिटिश शासन के तहत बिहार में एक सक्रिय राजनीतिक युग की शुरुआत का प्रतीक था।

बिहार विधान परिषद का पहला सत्र __________ को आयोजित किया गया था।
  • a)
    20 जनवरी, 1913
  • b)
    1 अप्रैल, 1912
  • c)
    24 मार्च, 1937
  • d)
    1 जनवरी, 1912
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

बिहार विधान परिषद का पहला सत्र 20 जनवरी, 1913 को बैंकिपोर में आयोजित किया गया था। यह बिहार के नए स्थापित प्रांत में विधायी कार्यों की औपचारिक शुरुआत का प्रतीक था। विधान परिषद का गठन क्षेत्र के राजनीतिक विकास में एक महत्वपूर्ण कदम था।

बिहार के गठन के दौरान 1912 में निम्नलिखित में से कौन सा घटना हुई?
  • a)
    भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का 27वाँ सत्र बैंकिपुर, पटना में आयोजित किया गया।
  • b)
    बिहार और उड़ीसा विधान परिषद का विस्तार 100 सदस्यों तक किया गया।
  • c)
    बिहार संयुक्त प्रांतों का भाग बना।
  • d)
    बिहार में पहले आम चुनाव हुए।
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

बिहार के गठन के दौरान 1912 में, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का 27वाँ सत्र बैंकिपुर, पटना में आयोजित किया गया। इससे राज्य में राजनीतिक जागरूकता और सक्रियता की शुरुआत हुई। यह घटना भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के व्यापक संदर्भ में बिहार की बढ़ती राजनीतिक महत्वता को उजागर करती है।

झारखंड के बिहार से निर्माण के संबंध में निम्नलिखित में से कौन से कथन सही हैं?

  1. झारखंड का गठन 15 नवंबर, 2000 को हुआ था।
  2. झारखंड के गठन से बिहार का क्षेत्रफल 45.85% कम हो गया।
  3. झारखंड के निर्माण के बाद बिहार विधान सभा के सदस्यों की संख्या बढ़ा दी गई थी।
  • a)
    केवल 1 और 2
  • b)
    केवल 2 और 3
  • c)
    केवल 1 और 3
  • d)
    1, 2, और 3
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

झारखंड का गठन 15 नवंबर, 2000 को बिहार पुनर्गठन अधिनियम के परिणामस्वरूप हुआ। झारखंड के निर्माण से बिहार का क्षेत्रफल 45.85% कम हो गया। झारखंड के गठन के बाद बिहार विधान सभा के सदस्यों की संख्या बढ़ाई नहीं गई थी, बल्कि इसे 324 से 243 तक कम कर दिया गया था।

कौन सा अधिनियम बिहार और ओडिशा जैसे अलग प्रांतों के निर्माण के लिए मार्ग प्रशस्त करता है?
  • a)
    भारत सरकार अधिनियम, 1935
  • b)
    भारतीय स्वतंत्रता अधिनियम, 1947
  • c)
    मॉन्ट-फोर्ड सुधार, 1919
  • d)
    राज्य पुनर्गठन अधिनियम, 1956
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

भारत सरकार अधिनियम, 1935 एक महत्वपूर्ण कानून था जिसने बिहार और ओडिशा सहित अलग प्रांतों के निर्माण की अनुमति दी। इसने प्रांतों को बढ़ी हुई स्वायत्तता प्रदान की और भाषाई और सांस्कृतिक कारकों के आधार पर अलग-अलग संस्थाओं की स्थापना के लिए आगे की राजनीतिक पुनर्गठन की नींव रखी।

1936 में बिहार और ओडिशा के विभाजन के बारे में निम्नलिखित में से कौन सा/से बयान सही हैं?
  • a)
    केवल 1 और 3
  • b)
    केवल 2 और 3
  • c)
    केवल 1 और 2
  • d)
    1, 2, और 3
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

1936 में, बिहार और ओडिशा को भारत सरकार अधिनियम, 1935 के तहत दो अलग-अलग प्रांतों में विभाजित किया गया, जो प्रशासनिक और सांस्कृतिक मांगों के बढ़ने के कारण था। यह विभाजन बिहार के इतिहास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर था, क्योंकि इससे ओडिशा को एक स्वतंत्र प्रांत के रूप में स्थापित किया गया। हालाँकि, इस विभाजन के बाद ओडिशा का बंगाल के साथ विलय नहीं हुआ, क्योंकि यह ब्रिटिश शासन के तहत एक अलग प्रांत बना।

बिहार के 1956 में पुनर्गठन के संबंध में निम्नलिखित में से कौन सा कथन सत्य है?
  • a)
    केवल 1 और 2
  • b)
    केवल 1 और 3
  • c)
    केवल 2 और 3
  • d)
    उपर्युक्त में से कोई नहीं
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

1956 में, राज्य पुनर्गठन आयोग ने बिहार की सीमाओं को बदलते हुए कुछ क्षेत्रों को पश्चिम बंगाल में स्थानांतरित किया, जैसे कि मनभूम और पूर्णिया। हालांकि, विधानसभा के सदस्यों की संख्या 331 से घटाकर 318 कर दी गई। पुनर्गठन ने बिहार और ओडिशा के लिए अलग प्रांत नहीं बनाए, क्योंकि ओडिशा को पहले ही 1936 में अलग कर दिया गया था।

भारत की स्वतंत्रता के बाद बिहार में पहला आम चुनाव किस वर्ष हुआ?
  • a)
    1947
  • b)
    1950
  • c)
    1952
  • d)
    1956
Correct answer is option 'C'. Can you explain this answer?

भारत की स्वतंत्रता के बाद बिहार में पहला आम चुनाव 1952 में हुआ। यह नए अपनाए गए भारतीय संविधान के अंतर्गत पहला चुनाव था। चुनाव के परिणामों ने एक नए विधान सभा के गठन की ओर अग्रसर किया, जो स्वतंत्रता के बाद बिहार के राजनीतिक प्रणाली का एक महत्वपूर्ण हिस्सा बन गया। यह चुनाव बिहार में लोकतांत्रिक शासन के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर था।

1912 में बिहार को एक अलग प्रांत के रूप में बनाने के संबंध में निम्नलिखित में से कौन सा/से कथन सही है?

  1. बिहार बंगाल के साथ सांस्कृतिक और भाषाई भिन्नताओं के कारण एक अलग प्रांत बना।
  2. बिहार की पहली विधायी परिषद में 50 सदस्य थे।
  3. पटना को नए बने प्रांत की राजधानी के रूप में चुना गया था।
  • a)
    केवल 1 और 3
  • b)
    केवल 1 और 2
  • c)
    केवल 2 और 3
  • d)
    उपरोक्त में से कोई नहीं
Correct answer is option 'A'. Can you explain this answer?

1912 में, बिहार को बंगाल से सांस्कृतिक और भाषाई भिन्नताओं के कारण अलग किया गया। बिहार की पहली विधायी परिषद में 50 सदस्य नहीं थे, बल्कि 43 सदस्य थे। पटना को बिहार की राजधानी के रूप में चुना गया, और यह कदम बिहार की राजनीतिक पहचान के रूप में एक स्वतंत्र प्रांत के रूप में शुरुआत को दर्शाता है। बिहार की स्थापना भारत के उपनिवेशी इतिहास में एक महत्वपूर्ण क्षण था।

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